Short Description
आमचो बस्तर’ एक उपन्यास है जो बस्तर के अतीत और वर्तमान को समझने का प्रयास करता है। इसमें प्राचीन, मध्यकालीन और आधुनिककालीन इतिवृत्त, पौराणिक मान्यताओं, लोकगाथाओं और वास्तविक तथ्यों को संगठित किया गया है। यह उपन्यास बस्तर के इतिहास, विद्रोह, और नक्सलवाद के मुद्दों पर एक संवेदनशील दृष्टिकोण प्रस्तुत करता है।
More Information
ISBN 13 | 9798885751643 |
Book Language | Hindi |
Binding | Paperback |
Publishing Year | 2024 |
Total Pages | 424 |
Edition | First |
Publishers | Garuda Prakashan |
Category | Literature & Fiction Indian Writing |
Weight | 450.00 g |
Dimension | 15.50 x 23.00 x 2.70 |
Product Details
ABOUT THE BOOK:-
बस्तर को अतीत से वर्तमान तक समझना है तो, ‘आमचो बस्तर’ इसके लिए सम्पूर्ण कृति है। नक्सलवाद को बस्तर का आईना बना दिया गया है किन्तु इनके वास्तविक कारणों और समाधानों की सूक्ष्म पड़ताल करता है यह उपन्यास।
‘आमचो बस्तर’ में कथानक तीन समानांतर धाराओं में बहता है। एक धारा है प्रागैतिहासिक काल से प्राचीन, मध्यकालीन और आधुनिककालीन इतिवृत्त की। दूसरी धारा है बस्तर में प्रचलित मिथकों, पौराणिक मान्यताओं, किंवदंतियों और लोकगाथाओं की, जो उपन्यास में रस का संचार करती है। तीसरी धारा है तथ्यों की पोटली बगल में दबाए अबुझमाड़ की बीहड़ पगडंडियों से देश के विभिन्न राजमार्गों तक चौकन्नी यात्रा करते गल्प की।
बस्तर के इतिहास के ग्यारह विद्रोहों के अलावा दो पीढ़ियों के मन-मस्तिष्क में जो ज्वालामुखी दहकते रहे हैं, उन्हें विभिन्न पात्रों के माध्यम से कथा में गूंथा गया है, साथ ही उनका वर्तमान नक्सलवादी घटनाओं की पृष्ठभूमि में तथ्यपरक विवेचन भी किया गया है।